अमृत सरोवर योजना से तालाबों को मिल रहा नया जीवन,120 अमृत सरोवर निर्माण कर किया वृक्षारोपण
दुर्ग / आजादी के 75वे सालगिरह के अवसर पर भारत सरकार द्वारा अमृत महोत्सव मनाया जा रहा है। इस दौरान देश के प्रत्येक जिलों में जल संरक्षण एवं जल संचय करने के लिए अधिक से अधिक अमृत सरोवर तालाब का निर्माण ग्राम पंचायतों में करने का लक्ष्य रखा गया है।इसी तारतम्य में दुर्ग जिले में 120 अमृत सरोवर का निर्माण महात्मा गांधी राष्ट्रीय ग्रामीण रोजगार गारंटी योजना के तहत मजदूरों द्वारा किया गया है, जिसमें 15430 पौधे रोपित किए गए। प्रत्येक अमृत सरोवर कम से कम 1 एकड़ के क्षेत्र में निर्मित किया गया है, जिसमें 10000 घन मीटर जल भराव की क्षमता है। ग्रामीणों को योजना से जोड़ने के लिए अमृत सरोवर स्थल में विभिन्न कार्यक्रम आयोजित किए जा रहे हैं।अमृत सरोवर के तहत मेंड़ में वृक्षारोपण का कार्य भी किया जा रहा है, जिसके तहत धमधा विकासखण्ड में 50 स्थलों में 7500 पौधे, दुर्ग विकासखण्ड में 36 स्थलों में 3600 पौधे, पाटन विकासखण्ड में 34 स्थलों में 4330 पौधे रोपण किया जाएगा। पाटन विकासखण्ड के अंतर्गत ग्राम पंचायत धमना,फुण्डा पीपरछेडी, पाहदा(झ),पहडोर, पौहा, तर्रा, टेमरी उफरा तुलसी, बटेना, सिकोला, कसही तेलीगुण्डरा, मर्रा बोरीद केसरा, भनसुली, केसरा, सवनी,दैमार, नवागांव व छांटा में वृक्षारोपण किया गया। धमधा विकासखण्ड के खजर्री हर्दी, टेकापार, लिमतरा, पथरिया डो, टेकपार बोरी, दनीया फुण्डा, मडियापार,खेरधा, बसनी, करेली, अहेरी, खजरी, दरगांव में पौधे रोपण का कार्य किया जा रहा है। दुर्ग विकासखण्ड के ग्राम पंचायत बोरई, भेडसार, अंजोरा (ढ), जंजगिरी दमोदा में वृक्षारोपण का कार्य किया गया। वृक्षारोपण से सरोवर तटों के ढलानों को स्थिर रखने में मदद मिलेगी। अमृत सरोवर के अंतर्गत सरोवर के चारों और सामुदायिक भागीदारी के माध्यम से वृक्षारोपण किया जा रहा है।